इथिकल हेकिंग (Ethical Hacking) kya hai?

इथिकल हेकिंग (Ethical Hacking)

इथिकल हैकिंग कम्प्युटर सिस्टम तथा/या कम्प्युटर नेटवर्क में कमजोरी की पहचान करती है और कमजोरियों को प्रोटेक्ट करने वाले काउंटर मेजर के साथ आती है। इथिकल हैकर्स को नियमों का पालन करना आवश्यक है:

हैंकिंग से पहले कम्प्युटर सिस्टम तथा/ या कम्प्युटर नेटवर्क के ऑनर से लिखित अनुमति लेना।

आर्गेनाइजेशन की प्राइवेसी को हैक करके प्रोटेक्ट करना।

कम्प्युटर सिस्टम में पहचानी गई सभी कमजोरियों के बारे में आर्गेनाइजेशन को पारदर्शी रूप से रिपोर्ट करना।

पहचानी गई कमजोरियों के बारे में हार्डवेयर तथा सॉफ्टवेयर बेंडर्स को सूचित करना

इथिकल हैकिंग क्यों (Why Ethical Hacking?)

इन्फॉर्मेशन किसी आर्गेनाइजेशन की सबसे मुल्यवान असेट्स में से एक है। इन्फॉर्मेशन को सिक्योर रखने से आर्गेनाइजेशन की इमेज को प्रोटेक्ट किया जा सकता है और आर्गेनाइजेशन का बहुत सारा धन बच सकता है।

हैकिंग से उन आर्गेनाइजेशन्स के लिए बिजनेस को नुकसान हो सकता है, जो पेपाल जैसे फाइनेन्स में डील करते हैं। इथिकल हैकिंग उन्हें साइबर क्रिमिनल्स से एक कदम आगे रखती है, जो अन्यथा बिजनेस को नुकसान पहुँचाते हैं।

इथिकल हैकिंग की वैधता (Hegality of Ethical Hacking)

इथिकल हैकिंग लीगल है, यदि हैकर इथिकल हैकिंग की परिभाषा पर उपरोक्त सेक्शन में निर्धारित नियमों का पालन करता है। इन्टरनेशनल काउंसिल आफ ई-कॉमर्स कंसल्टेंट्स (EC-काउंसिल) एक सर्टिफिकेशन प्रोग्राम प्रदान करता है, जो व्यक्ति के कौशल का परीक्षण करता है। परीक्षा उत्तीर्ण करने वालों को सर्टिफिकेट्स से सम्मानित किया जाता है। सर्टिफिकेट्स को बहुत समय के पश्चात् रिन्यु किया जाना चाहिए।

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